azam garh आजमगढ़ (14 अगस्त 2025) जनपद के अपर जिलाधिकारी (एडीएम) गंभीर सिंह को उनके असाधारण प्रशासनिक योगदान, जनहित के प्रति समर्पण और शिक्षा के क्षेत्र में किए गए क्रांतिकारी प्रयासों के लिए हाल ही में एक भव्य समारोह में सम्मानित किया गया। यह सम्मान न केवल उनके व्यक्तिगत योगदान का उत्सव था, बल्कि यह उस सामूहिक भावना का भी प्रतीक था, जो आजमगढ़ को प्रगति के पथ पर आगे बढ़ा रही है।
शहर के केंद्र में आयोजित इस भव्य सम्मान समारोह में आजमगढ़ मंडल के कमिश्नर, डीआईजी, जिलाधिकारी, एसएसपी और सीडीओ सहित जिले के कई गणमान्य अधिकारी मौजूद थे। सभी ने एक सुर में एडीएम गंभीर सिंह की प्रशासनिक दक्षता, त्वरित निर्णय क्षमता और संवेदनशील कार्यशैली की प्रशंसा की।
प्रेरणा के स्तंभ बने गंभीर सिंह, मंच से बोलते हुए कमिश्नर ने गंभीर सिंह को “प्रेरणा का स्तंभ” बताया। उन्होंने कहा कि गंभीर सिंह की पारदर्शी और जन-केंद्रित शासन शैली ने प्रशासन के लिए एक नया कीर्तिमान स्थापित किया है। डीआईजी ने भी उनके प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि उन्होंने दो महीने में 500 से अधिक मुकदमों का निपटारा किया है। अकेले पिछले महीने में ही उन्होंने 305 से अधिक मुकदमों का निपटारा कर जिला प्रशासन के कार्यों में एक अतुलनीय योगदान दिया है।
यह सम्मान गंभीर सिंह के समर्पण और कड़ी मेहनत का परिणाम है, जिसने आजमगढ़ को प्रशासनिक उत्कृष्टता और जन सेवा के क्षेत्र में एक नई पहचान दी है।
न्यायालय के जटिल मामलों का प्रभावी निस्तारण,
1-जनपद के अनेक विद्यालयों में सुधार और शिक्षा अभियान
2-पारदर्शी शासन व जनहित के लिए निरंतर समर्पण
गंभीर सिंह का सफर प्रेरणा का जीवंत दस्तावेज है। देश-विदेश के प्रतिष्ठित मंचों पर पहले भी सम्मानित हो चुके गंभीर सिंह ने प्रशासनिक नवाचार, सामाजिक न्याय, और महिला सशक्तिकरण के क्षेत्र में अपनी अमिट छाप छोड़ी है। लेकिन उनका सबसे बड़ा योगदान है शिक्षा को जनआंदोलन बनाने की मुहिम। वंचित बच्चों, ग्रामीण क्षेत्रों और दूरदराज के इलाकों तक शिक्षा की रोशनी पहुंचाने के उनके प्रयासों ने न केवल आजमगढ़, बल्कि पूरे देश में एक मिसाल कायम की है। उनकी यह पहल साबित करती है कि शिक्षा केवल किताबों तक सीमित नहीं, बल्कि यह समाज को सशक्त बनाने का सबसे मजबूत हथियार है।सम्मान ग्रहण करते हुए गंभीर सिंह के शब्दों में उनकी सादगी और दृढ़ संकल्प का परिचायक था। उन्होंने कहा, “यह सम्मान मेरे लिए नहीं, बल्कि आज (आजमगढ़ के हर उस व्यक्ति के लिए है, जो बेहतर कल के निर्माण में मेरे साथ कंधे से कंधा मिलाकर चल रहा है। शासन की योजनाओं को हर जरूरतमंद तक पहुंचाना और शिक्षा के माध्यम से समाज को सशक्त करना मेरा ध्येय है।” उनकी ये बातें मौजूद सभी लोगों के दिलों को छू गईं।समारोह में अधिकारियों, कर्मचारियों, सामाजिक कार्यकर्ताओं और नागरिकों की भारी भीड़ ने इस अवसर को और भी यादगार बना दिया। गंभीर सिंह की यह उपलब्धि आजमगढ़ के लिए गर्व का विषय है और उनके कार्य भविष्य की पीढ़ियों के लिए प्रेरणा बने रहेंगे।आजमगढ़ ने आज न केवल एक कुशल प्रशासक को सम्मानित किया, बल्कि यह भी साबित किया कि समर्पण और सेवा का जज़्बा समाज में सकारात्मक बदलाव ला सकता है। गंभीर सिंह को उनके उज्ज्वल भविष्य और निरंतर प्रगति के लिए हार्दिक शुभकामनाएँ!